चर्चा में क्यों?
भारत सरकार ने ईरान में बिगड़ती सुरक्षा स्थिति के मद्देनज़र "ऑपरेशन सिंधु" नामक एक निकासी अभियान शुरू किया है।

ऑपरेशन सिंधु के बारे में:
- इसे विदेश मंत्रालय द्वारा शुरू किया गया।
- यह भारतीय वायुसेना और नौसेना का संयुक्त प्रयास है।
ऑपरेशन सिंधु की मुख्य विशेषताएं
विशेषता
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विवरण
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प्रक्षेपण तिथि
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मध्य जून 2025
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पहली निकासी उड़ान
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18 जून 2025 को 14:55 बजे, येरेवन (आर्मेनिया) से रवाना
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नई दिल्ली आगमन
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19 जून 2025 की सुबह
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निकाले गए नागरिक
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प्रारंभिक चरण में उत्तरी ईरान से 110 भारतीय छात्र
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निकासी मार्ग
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सड़क मार्ग से ईरान से आर्मेनिया, फिर विशेष विमान से भारत
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ऑपरेशन सिंधु का उद्देश्य
- ईरान में फंसे भारतीयों को सुरक्षित क्षेत्रों में पहुंचाना और भारत वापस लाना।
- इज़राइल-ईरान टकराव के बढ़ते खतरे से प्रभावित क्षेत्रों से नागरिकों की तत्काल निकासी।
- मानवीय दृष्टिकोण से संकट प्रबंधन और विदेश नीति की प्रभावशीलता को सिद्ध करना।
ऑपरेशन सिंधु का महत्व
- यह अभियान भारत की त्वरित आपातकालीन प्रतिक्रिया क्षमता का प्रमाण है।
- ईरान और आर्मेनिया जैसे देशों के साथ भारत के मज़बूत संबंधों की पुष्टि करता है।
- विदेश मंत्रालय और दूतावासों के संवेदनशील और कुशल संचालन को दर्शाता है।
- भारत का यह कदम वैश्विक मंच पर एक उत्तरदायी लोकतांत्रिक शक्ति की छवि को और भी मज़बूत करता है।
भारत के अन्य निकासी अभियान:
- ऑपरेशन गंगा (यूक्रेन संकट)
- ऑपरेशन कावेरी (सूडान संघर्ष)
- वंदे भारत मिशन (कोविड-19 के दौरान)
प्रश्न. ऑपरेशन सिंधु" किस देश में फंसे भारतीय नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए भारत द्वारा शुरू किया गया था?
(a) यूक्रेन
(b) सूडान
(c) ईरान
(d) इज़राइल
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