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ग्लोबल स्टेटस रिपोर्ट फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (बिल्डिंग्स-GSR) 2024

प्रारंभिक परीक्षा – ग्लोबल स्टेटस रिपोर्ट फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (बिल्डिंग्स-GSR) 2024
मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर-3

चर्चा में क्यों

संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) ने ग्लोबल स्टेटस रिपोर्ट फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (बिल्डिंग्स-GSR) 2024' जारी की।

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प्रमुख बिंदु 

  • यह रिपोर्ट संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) और ग्लोबल एलायंस फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (GlobalABC) ने संयुक्त रूप से जारी की है।
  • इसके अनुसार भवन और निर्माण क्षेत्रक वैश्विक ग्रीनहाउस गैस (GHG) उत्सर्जन के लगभग 21% हिस्से के लिए जिम्मेदार है।
  • वर्ष 2022 में भवन क्षेत्र वैश्विक ऊर्जा मांग के 34% तथा ऊर्जा और प्रक्रिया से संबंधित 37% कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) उत्सर्जन के लिए जिम्मेदार था।
  • भारत में भवन क्षेत्र कुल CO2 उत्सर्जन के लगभग 40% के लिए जिम्मेदार है।

Decarbonise

भवन और निर्माण क्षेत्र को विकार्बनीकृत (Decarbonise) करने की आवश्यकता क्यों:

  • जलवायु परिवर्तन पर पेरिस समझौते के तहत ग्लोबल वार्मिंग को 1.5 डिग्री सेल्सियस तक सीमित करने के लक्ष्य की प्राप्ति के लिए।
  •  निर्माण सामग्री प्राप्त और उपयोग करने की पूरी प्रक्रिया में कार्बन उत्सर्जन को कम करके वर्ष 2050 तक नेट जीरो उत्सर्जन लक्ष्य हासिल करने के लिए।

संधारणीय भवन और निर्माण क्षेत्रक के लिए शुरू की गई पहलें:

 वैश्विक पहलेंः

  • डिक्लेरेशन डी चैलॉटः इसे पहली बार बिल्डिंग्स एंड क्लाइमेट ग्लोबल फोरम में अपनाया गया था।
    • इस डॉक्यूमेंट का उद्देश्य भवन क्षेत्र के तहत जलवायु संबंधी चुनौतियों का समाधान करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देना है।
  • भवनों के ऊर्जा प्रदर्शन पर दिशा-निर्देश (यूरोपीय संघ): इन दिशा-निर्देशों का उद्देश्य वर्ष 2030 तक नए भवनों के लिए शून्य उत्सर्जन मानक स्थापित करना है।
  • बिल्डिंग्स ब्रेकथ्रू पहलः इसे COP-28 में फ्रांस और मोरक्को ने शुरु किया था।
    • इस पहल का उद्देश्य 2030 तक लगभग शून्य उत्सर्जन और रेजिलिएंट बिल्डिंग्स के लक्ष्य को प्राप्त करना है।
    • 27 देशों ने अब तक बिल्डिंग ब्रेकथ्रू के प्रति अपनी प्रतिबद्धता जताई है।
  • क्लीन हीट फोरमः इसे यूनाइटेड किंगडम ने शुरू किया है।

भारत द्वारा शुरू की गई पहलें:

  • शहर-विशिष्ट पहला "जीरो कार्बन बिल्डिंग एक्शन प्लान (ZCBAP)" नागपुर में लॉन्च किया गया है।
  • ऊर्जा संरक्षण (संशोधन) अधिनियम, 2022 में ऊर्जा संरक्षण और संधारणीय भवन संहिता का प्रावधान किया गया है।

भवन और निर्माण क्षेत्रक के विकार्बनीकरण के समक्ष चुनौतियां:

  • खराब निर्माण पद्धतियां पर्यावरणीय चिंताएं उत्पन्न कर सकती हैं। इसके कारण ऊर्जा खपत और ग्रीन हाउस गैस के उत्सर्जन में वृद्धि हो सकती है।
  • जलवायु जोखिम वाले क्षेत्रों में अधिक कार्बन उत्सर्जन में योगदान देने वाले नए भवनों का निरंतर निर्माण एक अन्य बड़ी समस्या है।

प्रमुख सिफारिशे:

  • शून्य-उत्सर्जन भवन सिद्धांतों के अनुरूप ‘भवन ऊर्जा संहिता’ विकसित करने की आवश्यकता है।
  • भवन और निर्माण क्षेलक के विकार्बनीकरण में अधिक निवेश के लिए वित्तीय प्रोत्साहन देने की जरूरत है।

ग्लोबल एलायंस फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (GlobalABC):

  • इसे COP-21 में स्थापित किया गया था।
  • यह ‘शून्य उत्सर्जन, दक्ष , कुशल और लचीली इमारतें और निर्माण क्षेत्र के साझा विज़न के प्रति प्रतिबद्ध भवन क्षेत्र के हितधारकों का अग्रणी वैश्विक प्लेटफॉर्म है।
  • एक वैश्विक कार्रवाई के लिए उत्प्रेरक है और निर्मित पर्यावरण के लिए कार्बन तटस्थता रणनीति को परिभाषित करके कार्रवाई को आगे बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित करता है
  • यह अंतरराष्ट्रीय आयोजनों के माध्यम से वैश्विक जलवायु कार्रवाई  के महत्व की वकालत करता है।
  • यह लक्ष्य निर्धारित करने और प्रगति को ट्रैक करने के लिए एक विश्वसनीय मंच है
  • यह देशों को उनकी स्थिति के आधार पर प्राथमिकताएं और उपाय निर्धारित करने में सहायता करता है
  • UNEP ग्लोबल एलायंस फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (GlobalABC) के माध्यम से नीति निर्माताओं को एकजुट करता है 
  • UNEP भवन निर्माण क्षेत्र में जलवायु परिवर्तन अनुकूलन कार्यों को बढ़ावा देने और वार्षिक प्रगति को ट्रैक करने के लिए ‘प्रभावी कार्रवाई के लिए 10 सिद्धांतों’ का प्रस्ताव करता है।

 10 सिद्धांत इस प्रकार हैं:

  • अत्यावश्यकता (Urgency): अभी कार्रवाई करें।
  • हितधारक (Stakeholders): संपूर्ण मूल्य श्रृंखला में अनुकूलन के उपायों के एक प्रणालीगत एकीकरण पर विचार करें।
  • प्रक्रिया (Process): किसी परिसंपत्ति के संपूर्ण जीवनचक्र के दौरान अनुकूलन पर विचार करें।
  • शमन (Mitigation): अनुकूलन और शमन को एक साथ क्रियान्वित करें।
  • डेटा (Data): जलवायु जोखिम डेटा को समझें और अनिश्चितता को स्वीकार करें।
  • पैमाना (Scale): परिसंपत्ति-स्तर से परे सोचें।
  • हरा (Green): प्रकृति-आधारित समाधानों पर विचार करें।
  • लोग (People): भवन निर्माण क्षेत्र के ‘उचित अनुकूलन’ को बढ़ावा दें।
  • वित्त (Finance): भवन निर्माण क्षेत्र का अनुकूलन सक्षम करें।
  • स्थानीय (Local): अनुकूलन उपायों को स्थानीय संदर्भ में फिट करें।

प्रश्न: निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए।

  1. संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) ने ग्लोबल स्टेटस रिपोर्ट फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (बिल्डिंग्स-GSR) 2024' जारी की।
  2. इस रिपोर्ट को तैयार करने में  ग्लोबल एलायंस फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (GlobalABC) ने UNEP की सहायता की थी।
  3.  ग्लोबल एलायंस फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (GlobalABC) को COP-21 में स्थापित किया गया था।

उपर्युक्त में से कितना/कितने कथन सही है/हैं?

 (a) केवल एक 

(b) केवल दो 

 (c) सभी तीनों 

(d)  कोई भी नहीं 

उत्तर: (c)

मुख्य परीक्षा प्रश्न: भवन निर्माण के क्षेत्र में विकार्बनीकरण करने में ग्लोबल स्टेटस रिपोर्ट फॉर बिल्डिंग्स एंड कंस्ट्रक्शन (बिल्डिंग्स-GSR) 2024' की भूमिका का उल्लेख कीजिए।

 स्रोत:UNEP

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