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75वां मानवाधिकार दिवस (75th Human Rights Day)

प्रारंभिक परीक्षा – 75वां मानवाधिकार दिवस (75th Human Rights Day)
मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर-2 

चर्चा में क्यों 

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़10 दिसंबर, 2023 को नई दिल्ली में 75वें मानवाधिकार दिवस के अवसर पर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के कार्यक्रम में शामिल हुए।

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प्रमुख बिंदु 

  • मानवाधिकार दिवस की वर्ष 2023 की थीम स्वतंत्रता, समानता और सभी के लिए न्याय’ है।
  • हर वर्ष 10 दिसंबर को  मानवाधिकार दिवस वर्ष 1948 में मानव अधिकारों की सार्वभौम घोषणा (UDHR) को अपनाने की याद में मनाया जाता है।
  • 10 दिसंबर 2023 को सबसे महत्वपूर्ण वैश्विक घोषणाओं में से एक मानव अधिकारों की सार्वभौम घोषणा (यूडीएचआर) की 75वां वर्षगांठ था।

अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस : 

  • 10 दिसंबर,1948 को संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा मानव अधिकारों की सार्वभौम घोषणा को मंजूरी दी गई।
  • अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस की शुरुआत 1950 में की गई थी, जब संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा संकल्प 423 को अपनाया था।
  •  इस संकल्प में सभी देशों और संगठनों से 10 दिसंबर को मानवाधिकार दिवस के रूप में मनाने का आह्वान किया गया था। 
  • वैश्विक स्तर पर मानवाधिकारों के संवर्द्धन और संरक्षण के लिए संयुक्त राष्ट्र द्वारा संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (पूर्ववती नाम संयुक्त राष्ट्र मानवधिकार आयोग) का गठन किया।

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद :

  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद , संयुक्त राष्ट्र प्रणाली के भीतर एक अंतर-सरकारी निकाय है जो विश्व भर में मानवाधिकारों के संरक्षण के लिए उत्तरदायी संगठन है।
  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद  का गठन 2006 में संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा किया गया था।
  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद ने पूर्ववर्ती ‘संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार आयोग’ का स्थान लिया।
  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद  का गठन 47 संयुक्त राष्ट्र सदस्य देशों से मिलकर हुआ है जो संयुक्त राष्ट्र महासभा  द्वारा चुने जाते हैं।
  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार के उच्चायुक्त का कार्यालय  मानव अधिकार परिषद के सचिवालय के रूप में कार्य करता है।
  • संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद का मुख्यालय जिनेवा, स्विट्ज़रलैंड में स्थित है।

भारत में मानवाधिकार कानून: 

  • भारतीय संविधान में मानवाधिकारों को शामिल किया गया है।
  •  भारतीय संविधान में वर्णित मूल अधिकारों में ही मानवाधिकार से संबंधित प्रावधान निहित हैं। 
  • भारतीय संविधान के भाग-3 में अनुच्छेद 12 से 35 तक नागरिक को बिना भेदभाव किए छः मूल अधिकार दिए गए हैं।

मूल अधिकार 

  • समता का अधिकार -अनुच्छेद14-18
  • स्वतंत्रता का अधिकार – अनुच्छेद 19-22
  • शोषण के विरुद्ध अधिकार -अनुच्छेद 23-24
  • धार्मिक स्वतंत्रता का अधिकार - अनुच्छेद 25-28
  • संस्कृति और शिक्षा संबंधी अधिकार -अनुच्छेद 29-30
  • संवैधानिक उपचारों का अधिकार – अनुच्छेद 32
  • भारतीय  संविधान के भाग 4 में नीति निदेशक तत्वों में भी मानवाधिकार को सुनिश्चित किया गया है।

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग: 

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  • भारत का राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग एक स्वायत्त विधिक निकाय है।
  • इसकी स्थापना 12 अक्टूबर,1993 को हुई थी।
  • इसकी स्थापना मानवाधिकार सरक्षण अधिनियम, 1993 के अन्तर्गत की गई।
  • यह आयोग देश में मानवाधिकारों का प्रहरी है।
  • यह सविंधान द्वारा अभिनिश्चित तथा अंतर्राष्ट्रीय सन्धियों से निर्मित व्यक्तिगत अधिकारों का संरक्षक है।
  • यह एक बहु सदस्यीय निकाय है।
  • इसके प्रथम अध्यक्ष न्यायमूर्ति रंगनाथ मिश्र थे।
  • वर्तमान में न्यायमूर्ति अरुण कुमार मिश्रा इसके अध्यक्ष हैं।
  • इसके अध्यक्ष व सदस्यों का कार्यकाल 3 वर्ष या 70 वर्ष (जो भी पहले पूर्ण हो जाए) होता है ।
  • इसके अध्यक्ष व सदस्यों की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा गठित एक समिति की सिफारिश पर होती है।
  • राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग का गठन पेरिस सिद्धान्तों के अनुरूप है जिन्हें अक्तूबर, 1991 में पेरिस में मानव अधिकार संरक्षण एवं संवर्द्धन के लिए राष्ट्रीय संस्थानों पर आयोजित पहली अंतर्राष्ट्रीय कार्यशाला में अंगीकृत किया गया था तथा 20 दिसम्बर, 1993 में संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा संकल्प 48/134 के रूप में समर्थित किया गया था।

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के कार्य व शक्तियाँ

  • मानवाधिकार से जुड़े मुद्दों पर सरकार को परामर्श देना।
  • 1 वर्ष से अधिक पुराने मामलों पर सरकार की सहमति से सुनवाई कर सकता है।
  • इसे लोक न्यायालय की शक्तियाँ प्राप्त होती हैं।
  • यह अपनी रिपोर्ट राष्ट्रपति को सौंपता है।

प्रश्न: निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए ।

  1. भारतीय संविधान के भाग-3 में अनुच्छेद 12 से 35 तक नागरिक को बिना भेदभाव किए छः मूल अधिकार दिए गए हैं।
  2. संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद  का गठन 2006 में संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा किया गया था।
  3. भारत का राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग एक स्वायत्त विधिक निकाय है।

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं ?

(a) केवल एक

(b) केवल दो 

(c) सभी तीनों 

(d) कोई भी नहीं 

उत्तर: (c)

मुख्य परीक्षा प्रश्न: – राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग देश में मानवाधिकारों का प्रहरी है। समीक्षा कीजिए।

स्रोत: the hindu 

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