चर्चा में क्यों ?
- भारत में तकनीकी शिक्षा और अनुसंधान की गुणवत्ता, नवाचार क्षमता और रोजगार कौशल को मजबूत करने की आवश्यकता लंबे समय से महसूस की जा रही है।
- हालिया विश्व बैंक रिपोर्ट (2023) में भारतीय इंजीनियरिंग संस्थानों में अनुसंधान उत्पादन की कमी और उद्योग-शैक्षणिक सहयोग में कमजोरी को उजागर किया गया है।
- इस संदर्भ में, सरकार ने तकनीकी शिक्षा सुधार और बहु-विषयक अनुसंधान को बढ़ावा देने के लिए MERITE योजना (Multidisciplinary Education and Research Improvement in Technical Education) को मंजूरी दी है।

MERITE योजना का परिचय
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पूरे भारत में अनुसंधान, नवाचार और रोजगार कौशल को बढ़ाने के लिए 275 तकनीकी संस्थानों के लिए ₹4,200 करोड़ की MERITE योजना को मंजूरी दी है।
- यह योजना 2025-26 से 2029-30 तक पांच वर्षों की अवधि में लागू की जाएगी और इसमें 175 इंजीनियरिंग कॉलेज तथा 100 पॉलिटेक्निक संस्थान शामिल होंगे।
मुख्य उद्देश्य:
- तकनीकी शिक्षा की गुणवत्ता, समता और प्रशासन में सुधार।
- अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा देना।
- उद्योग-अकादमिक संबंधों को मजबूत करना।
- रोजगार कौशल को आधुनिक और उद्योग अनुरूप बनाना।
- बहु-विषयक शिक्षा एवं सहयोग को प्रोत्साहित करना।
वित्तपोषण और कार्यान्वयन
घटक
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विवरण
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कुल बजट
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₹4,200 करोड़
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विश्व बैंक सहायता
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₹2,100 करोड़ ऋण
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कार्यान्वयन अवधि
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2025–2030 (5 वर्ष)
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कवरेज
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सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के सरकारी इंजीनियरिंग और पॉलिटेक्निक संस्थान
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प्रमुख भागीदार
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IITs, IIMs, AICTE, NBA और अन्य नियामक निकाय
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योजना के प्रमुख उद्देश्य
- अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा देना
- अनुसंधान केंद्र, ऊष्मायन केंद्र और नवाचार प्रयोगशालाओं की स्थापना।
- उद्योग-अकादमिक सहयोग मजबूत करना
- पाठ्यक्रम अद्यतन और उद्योग आवश्यकताओं के अनुरूप प्रशिक्षण।
- इंटर्नशिप, कौशल प्रयोगशालाएं और निर्माता स्थान।
- शासन और गुणवत्ता आश्वासन में सुधार
- मान्यता और गुणवत्ता ढांचे का विकास।
- महिला संकाय पर ध्यान केंद्रित करते हुए शैक्षणिक प्रशासकों को प्रशिक्षण।
- बहुविषयक शिक्षा को बढ़ावा देना
- इंजीनियरिंग, प्रबंधन और अन्य विषयों के बीच सहयोग।
- बहु-विषयक पाठ्यक्रमों के लिए दिशानिर्देश तैयार करना।
- संचार और भाषा कौशल
- छात्र और संकाय के लिए कार्यशालाओं का संचालन।
अपेक्षित प्रमुख परिणाम
- 7.5 लाख से अधिक छात्रों को प्रत्यक्ष लाभ।
- तकनीकी संस्थानों के लिए मान्यता दरों में वृद्धि।
- तकनीकी पाठ्यक्रमों को बाजार अनुरूप आधुनिक बनाना।
- संकाय अनुसंधान उत्पादकता और उद्योग-संबंधों में सुधार।
- राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में डिजिटल शिक्षा परिवर्तन के लिए तैयारियों को बढ़ावा।
सरकारी बयान
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी: यह योजना भारत में अनुसंधान, नवाचार और कौशल को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ावा देने वाला कदम है।
- शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान: MERITE योजना शिक्षा परिदृश्य में परिवर्तन और क्रांति लाने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता दर्शाती है।
- केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव: यह योजना राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के दृष्टिकोण के साथ निकटता से जुड़ी है।
पृष्ठभूमि और आवश्यकता
विश्व बैंक की 2023 की मूल्यांकन रिपोर्ट में भारत के तकनीकी संस्थानों में अनुसंधान उत्पादन कम और नवाचार संबंध कमजोर पाए गए। MERITE योजना इन चुनौतियों का समाधान करती है:
- अनुसंधान सुविधाओं का सृजन।
- संकाय विकास कार्यक्रमों के माध्यम से विशेषज्ञता बढ़ाना।
- उद्योग साझेदारियों के लिए वित्तीय सहयोग।
इस योजना से भारत का तकनीकी शिक्षा ढांचा अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप मजबूत होगा और छात्रों तथा संकाय दोनों के लिए रोजगार और नवाचार के अवसर बढ़ेंगे।
प्रश्न :-MERITE योजना किस राष्ट्रीय नीति के दृष्टिकोण से जुड़ी है ?
(a) राष्ट्रीय स्वास्थ्य नीति
(b) राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020
(c) डिजिटल इंडिया पहल
(d) विजय पहल
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