New
GS Foundation (P+M) - Delhi : 28th Sept, 11:30 AM September Mid Offer UPTO 75% Off, Valid Till : 22nd Sept. 2025 GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 25th Sept., 11:00 AM September Mid Offer UPTO 75% Off, Valid Till : 22nd Sept. 2025 GS Foundation (P+M) - Delhi : 28th Sept, 11:30 AM GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 25th Sept., 11:00 AM

इको सेंसिटिव जोन 

(प्रारंभिक परीक्षा के लिए - इको सेंसिटिव जोन , पर्यावरण संरक्षण अधिनियम,1986)
(मुख्य परीक्षा के लिए, सामान्य अध्ययन प्रश्नप्रत्र 3 – पर्यावरण संरक्षण)

सन्दर्भ 

सुप्रीम कोर्ट ने कहा, कि वह देश भर में संरक्षित वनों, राष्ट्रीय उद्यानों और वन्यजीव अभ्यारणों की सीमा के एक किमी तक के क्षेत्र को अनिवार्य रूप से इको सेंसिटिव ज़ोन बनाने के अपने फैसले के विरुद्ध केंद्र सरकार द्वारा स्पष्टीकरण की मांग करने वाली याचिका पर विचार कर सकता है।

इको सेंसिटिव जोन  

  • इको सेंसिटिव जोन ऐसे क्षेत्र होते है, जिन्हें संरक्षित क्षेत्रों ( राष्ट्रीय पार्कों, वन्यजीव अभ्यारणों ) के आस-पास के क्षेत्र को और अधिक सुरक्षित बनाने के लिए बफर जोन के रूप में निर्मित किया जाता है। 
  • इको सेंसिटिव जोन घोषित करने का उद्देश्य संरक्षित क्षेत्रों के आसपास की गतिविधियों को विनियमित और प्रबंधित करके एक शॉक अब्जॉर्बर क्षेत्र का निर्माण करना है।
  • पर्यावरण संरक्षण अधिनियम,1986 की धारा 3 के अंतर्गत पर्यावरण एवं वन मंत्रालय द्वारा इको सेंसिटिव जोन को अधिसूचित किया जाता है। 
  • केंद्र सरकार ने इको सेंसिटिव जोन पर दिशा-निर्देश ज़ारी करते हुए इसकी सीमा संरक्षित क्षेत्रों से 10 किलोमीटर तक निर्धारित की थी।
    • संवेदनशील गलियारों, कनेक्टिविटी और पारिस्थितिक रूप से महत्वपूर्ण स्थानों के मामले में, 10 किलोमीटर की सीमा से बाहर के क्षेत्रों को भी इको सेंसिटिव जोन में शामिल किया जा सकता है।
  • सर्वोच्च न्यायालय ने अपने एक निर्णय में निर्देश दिया था,  कि देश में प्रत्येक संरक्षित वन, राष्ट्रीय उद्यान और वन्यजीव अभयारण्य में उनकी सीमाओं से कम-से-कम एक किमी. का अनिवार्य इको सेंसिटिव ज़ोन होना चाहिये।
  • पर्यावरण की रक्षा के लिए इन क्षेत्रों में गतिविधियों को विनियमित किया जाता है। 
    • इको सेंसिटिव जोन में गतिविधियों को तीन श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाता है। 

1. प्रतिबंधित गतिविधियाँ-

    1. वाणिज्यिक खनन।
    2. प्रदूषक उद्योगों की स्थापना। 
    3. बड़ी जल विद्युत् परियोजनों की स्थापना। 

2. विनियमित गतिविधियाँ-

    1. पेड़ों की कटाई।
    2. होटल और रिसॉर्ट की स्थापना।
    3. प्राकृतिक जल का व्यावसायिक उपयोग।
    4. कृषि प्रणाली में भारी बदलाव।
    5. कीटनाशकों का उपयोग।
    6. सड़कों का चौड़ीकरण।

3. अनुमति प्राप्त गतिविधियाँ-

    1. वर्षा जल संचयन।
    2. जैविक खेती।
    3. कृषि और बागवानी।

इको-सेंसिटिव जोन से जुड़े मुद्दे 

  • इस क्षेत्र में विभिन्न गतिविधियों पर प्रतिबंध लगा दिये जाने के कारण क्षेत्र में रहने वाले लोगों की आजीविका खतरे में पड़ जाती है। 
  • इन क्षेत्रों में रहने वाले परिवारों को विस्थापन के लिए मजबूर किया जा सकता है।
  • कई राज्यों द्वारा इस क्षेत्र में पाए जाने वाले खनिज संसाधनों के कारण भी इको सेंसिटिव जोन घोषित किये जाने का विरोध किया जाता है।

प्रश्न - भारत में संरक्षित क्षेत्रों की निम्नलिखित में से किस एक श्रेणी में स्थानीय लोगों को बायोमास एकत्र करने और उपयोग करने की अनुमति नहीं है? (UPSC-2012) 

(a) बायोस्फीयर रिज़र्व 

(b) राष्ट्रीय उद्यान 

(c) रामसर कन्वेंशन के तहत घोषित आर्द्रभूमि 

(d) वन्यजीव अभयारण्य

« »
  • SUN
  • MON
  • TUE
  • WED
  • THU
  • FRI
  • SAT
Have any Query?

Our support team will be happy to assist you!

OR
X