चर्चा में क्यों?
पंचायती राज संस्थाओं (पीआरआई) द्वारा की गई उत्कृष्ट डिजिटल पहलों को पहचानने के लिए राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस पुरस्कार 2025 के पुरस्कारों में एक विशेष नई श्रेणी शुरू की गई है।

प्रमुख बिंदु:
- पंचायती राज मंत्रालय ने प्रशासनिक सुधार और लोक शिकायत विभाग के साथ सहयोग से जमीनी स्तर पर शासन को सशक्त करने के लिए एक ऐतिहासिक कदम उठाया है।
- यह पुरस्कार श्रेणी, “ग्राम पंचायतों या समकक्ष पारंपरिक स्थानीय निकायों में सेवा वितरण को विस्तृत करने के लिए जमीनी स्तर की पहल”, पीआरआई के लिए अपनी तरह की पहली मान्यता है।
- इसका उद्देश्य प्रभावी, पारदर्शी और नागरिक-केंद्रित सेवा वितरण के माध्यम से जीवन को सरल बनाना और जीवन की गुणवत्ता में सुधार करना है।
चयन प्रक्रिया और विजेता:
- इस नई श्रेणी के लिए 26 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से कुल 1.45 लाख से अधिक प्रविष्टियाँ प्राप्त हुईं।
- कठोर बहुस्तरीय मूल्यांकन (ब्लॉक, जिला, राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर) के बाद चार ग्राम पंचायतों को विजेता घोषित किया गया।
पुरस्कार विजेताओं की सूची:
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पुरस्कार श्रेणी
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ग्राम पंचायत का नाम
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जिला
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राज्य/केंद्र शासित प्रदेश
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स्वर्ण पुरस्कार
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रोहिणी ग्राम पंचायत
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धुले
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महाराष्ट्र
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रजत पुरस्कार
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पश्चिम मजलिशपुर ग्राम पंचायत
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पश्चिम त्रिपुरा
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त्रिपुरा
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जूरी पुरस्कार
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पलसाना ग्राम पंचायत
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सूरत
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गुजरात
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जूरी पुरस्कार
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सुआकाती ग्राम पंचायत
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केंदुझार
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ओडिशा
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पुरस्कार विवरण:
- पुरस्कार विजेताओं को निम्नलिखित प्रदान किए जाएंगे:
- एक ट्रॉफी
- एक प्रमाण पत्र
- स्वर्ण पुरस्कार विजेताओं के लिए ₹10 लाख
- रजत पुरस्कार विजेताओं के लिए ₹5 लाख की वित्तीय प्रोत्साहन राशि
- यह प्रोत्साहन राशि विजेता जिले/संगठन/ग्राम पंचायत को पुरस्कृत परियोजना को लागू करने या लोक कल्याण के अन्य क्षेत्रों में संसाधन की कमी को पूरा करने के लिए उपयोग करने हेतु दी जाती है।
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प्रश्न. राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस पुरस्कार 2025 में स्वर्ण पुरस्कार विजेता ग्राम पंचायत कौन सी है?
(a) पश्चिम मजलिशपुर ग्राम पंचायत, त्रिपुरा
(b) पलसाना ग्राम पंचायत, गुजरात
(c) रोहिणी ग्राम पंचायत, महाराष्ट्र
(d) सुआकाती ग्राम पंचायत, ओडिशा
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