New
GS Foundation (P+M) - Delhi : 28th Sept, 11:30 AM Hindi Diwas Offer UPTO 75% + 10% Off, Valid Till : 15th Sept. 2025 GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 25th Sept., 11:00 AM Hindi Diwas Offer UPTO 75% + 10% Off, Valid Till : 15th Sept. 2025 GS Foundation (P+M) - Delhi : 28th Sept, 11:30 AM GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 25th Sept., 11:00 AM

कर्नाटक में जल संकट

प्रारम्भिक परीक्षा – कर्नाटक में जल संकट
मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर-1और 3

संदर्भ

  • दक्षिण-पश्चिम मानसून से वर्षा में 42% की कमी के के कारण कर्नाटक में सूखे की स्थित उत्पन्न हो गई है।

water-crisis

प्रमुख बिंदु 

कर्नाटक में सूखे के प्रमुख कारण   

  • दक्षिण-पश्चिम मानसून से लगभग 42%वर्षा में कमी।
  • इससे कर्नाटक में जल संकट एवं सूखे की समस्या उत्पन्न हो गई है। 
  • कावेरी नदी के जल का कर्नाटक और तमिलनाडु के मध्य जल बटवारा होने से राज्य में औसत जल की कमी।
  • वर्षा आधारित जलाशयों में भी जल का अभाव।

कर्नाटक में सूखे का प्रभाव

  • राज्य में सूखे के प्रभाव से धान की फसल तथा वहां की पारिस्थितिकी तंत्र पर भी पड़ रहा है। 
  • इसका प्रभाव कोडागु और कावेरी नदी के परिस्थितिकी तंत्र पर भी पड़ रहा है जो राज्य को जल आपूर्ति प्रदान करने का कार्य करते हैं। 
  • कर्नाटक में धान के खेत छोटे तालाबों की तरह काम करते हैं।
  • यह खेत वर्षा के पानी को बचा कर कावेरी की सहायक नदी एवं नालों/नहरों में पहुंचाते हैं, लेकिन जल अभाव के कारण ये सूखे की स्थिति में पहुँच गए हैं।
  • वर्षा कम होने से धान की कृषि/खेती लगभग 50% कम हो गई है।जिससे राज्य में जल अभाव तथा खाद्यान संकट की समस्या देखी जा रही है।
  • जल की कमी तथा मानव एवं पशु संघर्ष के कारण किसान धान की कृषि करना छोड़ रहे।
  • वर्षा नहीं होने से पशुओं को भी चारा नहीं मिलेगा, जिससे पारिस्थितकी तंत्र पर भी गहरा प्रभाव पड़ेगा। 

सुझाव 

  • सरकार को धान की कृषि को पुनर्जीवित करने के लिए किसानों को लगभग प्रति एकड़ 10,000 रु. का प्रोत्साहन राशि प्रदान करना चाहिए।
  • कृषि को बढ़ावा देने के लिए कॉरपोरेट्स और गैर-सरकारी संगठनों को सरकार का सहयोग करना चाहिए।
  • नागर होल नेशनल पार्क, जैसे राष्ट्रीय उद्यानों के पास मानव एवं पशु संघर्ष को रोकने के लिए सामुदायिक बाड़  बनानी चाहिए।
  • व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए धान की भूमि बेचने पर नियंत्रण एवं सतुलन लाने के लिए कानून बनाने पर विचार करना चाहिए। 
  • इससे भूस्खलन, जल एवं खाद्य संकट की समस्या पर नियंत्रण किया जा सकता है।
  • अच्छी धान की कृषि करने वाले गांवों को प्रोत्साहन प्रदान करते हुए टिकाऊ विकास मॉडल का प्रदर्शन किया जाना चाहिए, जिससे अन्य लोग भी धान की कृषि के प्रति आकर्षित हों।

प्रारंभिक परीक्षा प्रश्न:- कर्नाटक राज्य में सूखे के कारणों संदर्भ में, निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

1. दक्षिण-पश्चिम मानसून से लगभग 42%वर्षा में कमी।

2.कावेरी नदी के जल का कर्नाटक और तमिलनाडु के मध्य जल बटवारा होना।

3.वर्षा आधारित जलाशयों में जल का अभाव । 

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?

(a) केवल एक

(b) केवल दो

(c) सभी तीन 

(a) कोई भी नहीं

उत्तर: (c)

मुख्य परीक्षा प्रश्न : कर्नाटक में सूखे के कारण एवं प्रभाव की चर्चा करते हुए इनके समाधान के उपाय सुझाएं?

« »
  • SUN
  • MON
  • TUE
  • WED
  • THU
  • FRI
  • SAT
Have any Query?

Our support team will be happy to assist you!

OR
X