एक हालिया शोध ने धमनियों को ऑक्सीजन और पोषक तत्वों की मस्तिष्क की माँग पर शीघ्र प्रतिक्रिया देने में कॉनेक्सिन प्रोटीन की महत्त्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला है।
शोध के मुख्य निष्कर्ष
- शरीर के भार का केवल ~2% होने के बावजूद मस्तिष्क द्वारा शरीर की ऊर्जा का लगभग ~20% उपभोग किया जाता है।
- धमनियाँ तंत्रिका कोशिकाओं की गतिविधि को पूरा करने के लिए रक्त प्रवाह को गतिशील रूप से समायोजित करती हैं।
- कॉनेक्सिन प्रोटीन मस्तिष्क की धमनियों में एंडोथेलियल और चिकनी पेशी कोशिकाओं के बीच गैप जंक्शन बनाते हैं।
- ये प्रोटीन विद्युत एवं रासायनिक संकेतों को संचारित करने में मदद करने के साथ ही रक्त वाहिकाओं के प्रसरण व संकुचन का समन्वय करते हैं।
- कॉनेक्सिन-मध्यस्थ संकेतन में व्यवधान स्ट्रोक, मनोभ्रंश व संज्ञानात्मक गिरावट जैसी स्थितियों से जुड़ा है।
महत्त्व
- यह शोध मस्तिष्क की गतिविधि को रक्त प्रवाह से जोड़ने वाले न्यूरोवैस्कुलर युग्मन तंत्र की समझ को मजबूत करता है।
- यह तंत्रिका संबंधी और संवहनी विकारों के लिए उपचार विकसित करने में अंतर्दृष्टि प्रदान करता है।
- यह न्यूरॉन्स से परे मस्तिष्क के कार्य में संवहनी स्वास्थ्य के महत्त्व पर प्रकाश डालता है।
निष्कर्ष
कॉनेक्सिन प्रोटीन मस्तिष्कीय रक्त प्रवाह के ‘गेटकीपर’ के रूप में कार्य करते हैं, जिससे मस्तिष्क को आवश्यकतानुसार पोषण मिलता रहता है। यह अध्ययन हृदय और तंत्रिका संबंधी अनुसंधान को जोड़ने के साथ ही तंत्रिका-अपक्षयी रोगों से निपटने की अंतर्दृष्टि प्रदान करता है।