New
GS Foundation (P+M) - Delhi : 05th Jan., 2026 Winter Sale offer UPTO 75% + 10% Off GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 15th Dec., 11:00 AM Winter Sale offer UPTO 75% + 10% Off GS Foundation (P+M) - Delhi : 05th Jan., 2026 GS Foundation (P+M) - Prayagraj : 15th Dec., 11:00 AM

तोतापुरी आम

(प्रारंभिक परीक्षा: विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी)
(मुख्य परीक्षा, सामान्य अध्ययन प्रश्नपत्र- 3: भारत में खाद्य प्रसंस्करण एवं संबंधित उद्योग- कार्यक्षेत्र एवं महत्त्व, स्थान, ऊपरी व नीचे की अपेक्षाएँ, आपूर्ति श्रृंखला प्रबंधन)

संदर्भ 

आंध्र प्रदेश सरकार ने चित्तूर जिले में अन्य राज्यों से तोतापुरी आमों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है। इससे आंध्र प्रदेश एवं पड़ोसी राज्य कर्नाटक के बीच विवाद उत्पन्न हो गया है।

तोतापुरी आम के बारे में 

  • परिचय : आम की यह किस्म आंध्र प्रदेश, कर्नाटक एवं तमिलनाडु के सीमावर्ती जिलों में उगाई जाती है।
  • वैज्ञानिक नाम : मैंगीफेरा इंडिका (Mangifera indica) (आम की सभी किस्मों के लिए प्रयुक्त)
  • अन्य नाम : बैंगलोर, गिनीमूथी, किली मूकू एवं संदरशा 
  • नामकरण : अपने लंबे आकार और तोते की चोंच जैसी नोक के कारण तोतापुरी। 
  • उपज का मौसम : मई से जुलाई के बीच इसकी फसल होती है।
  • विशेषता : यह आम पानी की कम आवश्यकता, उच्च तापमान सहनशीलता और रोग के प्रति कम संवेदनशीलता के कारण भी लोकप्रिय है।
  • पोषण :
    • इसमें विटामिन A एवं C प्रचुर मात्रा में होते हैं।
    • इसमें कैलोरी कम एवं फाइबर अधिक होता है, इसलिए यह स्वास्थ्य के लिए भी लाभकारी माना जाता है।

व्यावसायिक महत्त्व 

  • तोतापुरी आमों का प्रयोग देश भर में बनने वाले आम के पेय (जूस) में अत्यधिक किया जाता है।
  • बहुराष्ट्रीय कंपनियों सहित खाद्य एवं पेय प्रसंस्करणकर्ता इन आमों को सीधे किसानों से खरीदते हैं। 
  • भारत आम का सबसे बड़ा उत्पादक एवं निर्यातक देश है और आम की यह किस्म इसका एक महत्त्वपूर्ण हिस्सा है।

हालिया मुद्दा 

  • प्रतिबंध : आंध्र प्रदेश सरकार ने चित्तूर में कर्नाटक से आने वाले तोतापुरी आमों पर प्रतिबंध लगा दिया है।
  • कारण : कर्नाटक के आम आंध्र प्रदेश में उगाए जाने वाले आमों से सस्ते हैं।
    • आंध्र प्रदेश के चित्तूर जिले में आम प्रसंस्करण एवं गूदा (Pulp) निष्कर्षण की कई कंपनियाँ हैं जो स्थानीय बाजारों से तोतापुरी आम खरीदती हैं।
  • प्रभाव : मौजूदा प्रतिबंध ने पारंपरिक रूप से अच्छी तरह से स्थापित आपूर्ति श्रृंखला को बाधित कर दिया है और फसल के बाद अत्यधिक नुकसान का खतरा उत्पन्न कर दिया है, जिसका सीधा प्रभाव हजारों किसानों की आजीविका पर पड़ रहा है।
  • आलोचना : यह प्रतिबंध सहकारी संघवाद की भावना के विपरीत है।

आम के बारे में महत्त्वपूर्ण तथ्य

  •  उत्पत्ति : आम (Mangifera indica) की उत्पत्ति दक्षिण एशिया (विशेषकर भारत, म्यांमार एवं बांग्लादेश) में मानी जाती है।
  • ऐतिहासिक विवरण 
    • आम का उल्लेख ऋग्वेद, बौद्ध ग्रंथों एवं पुराणों में मिलता है।
  • मुग़ल काल में उन्नति
    • मुगलों ने आम की कलमबद्ध विधि को लोकप्रिय बनाया।
    • अकबर ने दरभंगा (बिहार) में 1 लाख आम के पौधों का लाख बाग़ लगाया था।
    • जहांगीर एवं शाहजहाँ के समय में आम को फलों का राजा कहा जाने लगा।
  • औपनिवेशिक काल में आम का वैश्वीकरण
    • पुर्तगालियों ने आम को भारत से ब्राजील, फिलीपींस एवं अफ्रीका तक पहुँचाया।
    • आम की नई किस्में जैसे हापुस (अल्फोंसो) पुर्तगालियों द्वारा लाई गई थीं और कोंकण में विकसित की गईं।
  •  वर्तमान स्थिति
    • आज भारत में आम की 1000+ प्रजातियाँ पाई जाती हैं जिनमें से कुछ व्यवसायिक दृष्टि से प्रमुख हैं, जैसे- दशहरी, लंगड़ा, केसर, तोतापुरी आदि।
    • आम को भारत का राष्ट्रीय फल घोषित (1950) किया गया है।
    • वर्ष 1987 से प्रत्येक वर्ष 22 जुलाई को राष्ट्रीय आम दिवस के रूप में आयोजन। 
    • राष्ट्रीय बागवानी मिशन और GI टैग योजना के तहत आम की गुणवत्ता एवं वैश्विक पहचान को बढ़ावा दिया गया है।
  • परागण विधि : मुख्यत: कीटों द्वारा (Entomophily)
  • धार्मिक महत्व: पूजा, विवाह एवं पर्वों में प्रयोग होता है।
  • आम का वैश्विक योगदान : भारत विश्व का सबसे बड़ा आम उत्पादक देश है (कुल उत्पादन का लगभग 40%)
  • प्रमुख निर्यात : यू.ए.ई., सऊदी अरब, कतर, ब्रिटेन व अमेरिका
« »
  • SUN
  • MON
  • TUE
  • WED
  • THU
  • FRI
  • SAT
Have any Query?

Our support team will be happy to assist you!

OR